Tuesday, September 9, 2008

हमने ही तैयार किया जल बम

राजेंद्र सिह (संरक्षक, जल बिरादरी )
बिहार में हर साल आने वाली बाढ़ का मुख्य कारण केंद्र और वहां की प्रदेश सरकार की अदूरदर्शी योजनाएं हैं। कोसी नदी जो 120 किलोमीटर के क्षेत्र में बहती है, उसे एक नाले में तब्दील कर दिया गया। नदी पर बिना सोचे-समझे तटबंध बनने से परमाणु बम की तरह जल बम का निर्माण कर दिया गया। अब यह जल बम भारी तबाही का कारण बना है। नेपाल और भारत सरकार की साझा योजना के तहत कोसी पर तटबंध का निर्माण हुआ था। इसके रख-रखाव की जिम्मेदारी बिहार सरकार पर थी और केन्द्र इसके लिए धनराशि मुहैया कराता था, लेकिन सरकारी अधिकारियों की लापरवाही के चलते यह तटबंध टूट गया और लाखों लोग बाढ़ के शिकार हो गए।
बिहार के राजनेता अभी तक हर साल आने वाली बाढ़ से कोई सबक नहीं ले सके हैं। वे बाढ़ में भी राजनीति करने का जरिया ढूंढ लेते हैं और अपना वोट बैंक पक्का करने की कोशिश करते हैं। देश के पूर्व राष्ट्रपति स्वर्गीय राजेंद्र प्रसाद ने बिहार में लोगों को बाढ़ से बचाने के लिए जगह-जगह तटबंधों का निर्माण करवाया था, लेकिन उनकी सुरक्षा, रख-रखाव और मरम्मत का कार्य वहां की कोई भी सरकार अभी तक नहीं कर सकी है। चाहे केंद्रीय रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव हों या बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, बाढ़ आपदा प्रबंधन के मामले में इनकी नाकामी उजागर हो गई है। अब ये लोग नेपाल सरकार के माथे ठीकरा फोड़ रहे हैं, जो अब बेकार है। देश के लोगों के साथ सरकार को भी चाहिए कि वे अब नदी के अस्तित्व के साथ जीना सीख लें और उससे ज्यादा छेड़छाड़ न करें।
प्रस्तुति : सत्येंद्र शुक्ल
www.rashtriyasahara.com से साभार

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